आज उत्तराखंड की बेटियां किसी भी क्षेत्र में बेटों से पीछे नहीं हैं। कोई भी क्षेत्र हो वह कंधे से कंधा मिलाकर चल रही हैं। वह सड़कों पर टैक्सी गाड़ियां भी चला रही हैं। अब सरकारी अथॉरिटी उनके लिए आगे आ रही है। उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग अब राज्य के सरकारी विभागों में पहली बार महिला ड्राइवरों की नियुक्ति करने जा रहा है। दरअसल, निगम द्वारा आयोजित वाहन चालकों की भर्ती की मेरिट लिस्ट में कई महिला अभ्यर्थी भी शामिल हैं। जिसका साफ मतलब है कि आने वाले सालों में हमें महिलाएं सरकारी गाड़ियां चलाती नजर आएंगी।
2021 में हुई थी परिक्षा अब जल्द आएगा परिणाम जिसमें शामिल है कई महिलायें
आपको बता दें कि उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने साल 2021 में विभिन्न सरकारी विभागों में वाहन चालकों के 172 पदों के लिए आवेदन प्रक्रिया शुरू की थी. इस भर्ती के लिए लिखित परीक्षा भी आयोजित की गई थी लेकिन पेपर लीक विवाद के बाद इस पर संशय बना हुआ था. ये भर्ती भी कुछ समय के लिए. लेकिन अब इस भर्ती का आखिरी चरण शुरू होने जा रहा है। फाइनल मेरिट लिस्ट जारी करने के बाद आयोग अब अभ्यर्थियों का डॉक्यूमेंटेशन तैयार करने में जुटा है, जिसके बाद फाइनल रिजल्ट जारी किया जाएगा और विभिन्न विभागों में ड्राइवरों की नियुक्ति का रास्ता खुल जाएगा।
इस संबंध में उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के अध्यक्ष जीएस मर्तोलिया ने कहा कि जल्द ही अंतिम रूप से चयनित अभ्यर्थियों की चयन सूची संबंधित विभागों को भेज दी जाएगी। उन्होंने बताया कि अंतिम परिणाम जारी होने के बाद वन विभाग, राजभवन, राजस्व, राज्य संपत्ति जैसे कई विभागों को नये ड्राइवर मिलेंगे। लिखित परीक्षा की मेरिट लिस्ट को देखते हुए उनका कहना है कि पहली बार राज्य के सरकारी विभागों में महिला ड्राइवरों की भी नियुक्ति हो सकती है।
आपको बता दें कि इस भर्ती में आयोग ने लिखित परीक्षा के लिए 25 अंक और ड्राइविंग टेस्ट के लिए 75 अंक रखे थे। जिसमें कई महिला अभ्यर्थियों ने भी हिस्सा लिया. लिखित परीक्षा पूरी होने के बाद चयनित उम्मीदवारों का ड्राइविंग टेस्ट झाझरा स्थित ट्रेनिंग स्कूल में आयोजित किया गया था, जिसके लिए आयोग ने आईटीबीपी की ओर से संयुक्त राष्ट्र शांति सेना के ड्राइवरों को प्रशिक्षण देने वाले विशेषज्ञों की सेवाएं ली थीं। इसके बाद आयोग ने हाल ही में चयनित उम्मीदवारों की अंतिम मेरिट सूची जारी की है। जिसमें कई महिला अभ्यर्थी भी शामिल हैं.