हाल ही में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को नई टिहरी के प्रताप इंटर कॉलेज बौराड़ी में आयोजित बेटी-ब्वार्यूं कू कौथिग में मुख्य अतिथि के रूप में प्रतिभाग किया।इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने 415 करोड़ रुपये की 160 विभिन्न विकास योजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास किया।
समारोह में करी विकास में महिलाओ के योगदान की बात
जल्द ही टिहरी में 201 करोड़ की 44 योजनाओं का लोकार्पण और 214 करोड़ की 116 योजनाओं का शिलान्यास किया जाएगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने जिले की महिला स्व-सहायता समूहों द्वारा निर्मित उत्पादों, हस्तशिल्प एवं हस्तशिल्प की प्रदर्शनी का अवलोकन भी किया। मुख्यमंत्री ने स्वयं जोंड्रा चलाकर महिलाओं का हौसला बढ़ाया। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने इन्वेस्टर्स समिट के दौरान टिहरी में हस्ताक्षरित 3900 करोड़ के एमओयू में से 2400 करोड़ के एमओयू का भूमिपूजन भी किया।
मुख्यमंत्री ने जिले में उत्कृष्ट कार्य करने वाली स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को सम्मानित किया तथा स्कूली छात्र-छात्राओं को 2025 तक देवभूमि को नशा मुक्त बनाने की शपथ भी दिलाई। मुख्यमंत्री ने कहा कि मोदी जी की डबल इंजन सरकार के कार्यों का परिणाम उत्तराखंड में विकास के रूप में स्पष्ट दिखाई दे रहा है। उन्होंने कहा कि शिखर सम्मेलन के बाद सरकार की प्राथमिकता राज्य के हर क्षेत्र का विकास करना है।
उन्होंने कहा कि राज्य भर में महिला उद्यमियों ने पारंपरिक उत्पादों पर आधारित आकर्षक प्रदर्शनियां और स्टॉल लगाकर दिखा दिया है कि राज्य के विकास में महिलाओं का योगदान किसी से कम नहीं है। मुख्यमंत्री ने कहा कि अब हमारा देश महिला विकास से आगे बढ़ रहा है. जैसे कि अब महिलाएं नग्न हो रही हैंहर जगह उनका नाम, हमें आगे बढ़ना चाहिए और महिला नेतृत्व के बारे में बात करनी चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में मातृशक्ति के सम्मान में महिलाओं को सरकारी नौकरियों में 30 प्रतिशत आरक्षण देने के साथ-साथ मुख्यमंत्री महिला सशक्तिकरण योजना, मुख्यमंत्री महालक्ष्मी योजना, लखपति दीदी योजना, मुख्यमंत्री आंचल अमृत योजना, मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक मेधावी योजना, गौरा मातृवंदना योजना और महिला पोषण अभियान जैसी नंदा योजनाएं शुरू की गई हैं। मुख्यमंत्री ने बेटी को बधाई देते हुए कहा कि मातृशक्ति के बिना राष्ट्र का विकास संभव नहीं है, उत्तराखंड राज्य के निर्माण में मातृशक्ति का योगदान अमूल्य है।