उत्तराखंड में ऑनलाइन चालान को अब गंभीरता से न लेने वालों की खैर नहीं, देहरादून में 1.5 लाख लोगों पर बकाया 30 करोड़ का चालान

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क्या आप भी ऑनलाइन चालान के मैसेज को नजरअंदाज करते हैं, क्या आप भी ऐसा कर रहे हैं तो आपको सावधान होने की जरूरत है, हम आपको ऐसा न करने की सलाह देते हैं।दून में ऑनलाइन चालान की अनदेखी करने वालों को पुलिस अब फोन कर फोन पर ही चालान भरने की याद दिलाएगी।

चालान ना देने पर अब घर पर आएगा फोन

ऑनलाइन चालान भरने के मामले में लोग कितने लापरवाह हैं, इस स्थिति की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि डेढ़ लाख से ज्यादा लोगों ने देहरादून पुलिस का ऑनलाइन चालान नहीं भरा है. इनसे 30 करोड़ रुपये से अधिक की वसूली की जानी है। ऐसे में पुलिस वसूली के लिए नया प्रयोग करने के बारे में सोच रही है।

इसके लिए एक कंपनी से भी संपर्क किया जाएगा जो वाहन मालिक के फोन नंबर पर कॉल करेगी और उसे चालान भरने की याद दिलाएगी। दून और आसपास के इलाकों में ऑनलाइन चालान काटने की सेवा दो साल पहले शुरू की गई थी। इनमें नो पार्किंग, रेड लाइट जंपिंग, ओवर स्पीड आदि के चालान शामिल हैं।

शहर में अभी भी दिल्ली या अन्य शहरों जैसी प्रक्रिया नहीं है। दिल्ली में जब ऑनलाइन चालान काटा जाता है तो उसे तुरंत परिवहन विभाग को भेज दिया जाता है. इससे ऑनलाइन चालान की डिटेल आरसी पर अपलोड हो जाती है। चूंकि उत्तराखंड में ऐसी कोई प्रक्रिया नहीं है, इसलिए लोग मैसेज के जरिए दी जा रही चेतावनी को नजरअंदाज कर रहे हैं।

हाल ही में इसके लिए बाहरी लोगों को नोटिस भेजने पर भी विचार किया जा रहा था, लेकिन यह भी कारगर साबित नहीं हुआ। अब हालात ये हैं कि दो साल से करीब डेढ़ लाख चालान बकाया हो गए हैं। अब पुलिस कंपनी से बातचीत कर रही है कि अब बैंक के कॉल सेंटर की तर्ज पर लोगों को चालान भरने के लिए बुलाया जाएगा।

इसके लिए कंपनी को भुगतान भी किया जाएगा। हालांकि, अभी मामला बातचीत के स्तर पर ही है, आने वाले दिनों में इस पर फैसला लिया जा सकता है।